After months of tussle

महीनों तक चली खींचतान के बाद सिद्धू बने पंजाब कांग्रेस के अध्यक्ष

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नई दिल्ली (पंजाब 365 न्यूज़ ) : काफी दिनों से चली आ रही कांग्रेस की कलह में शायद अब विराम लग जाए। क्योकि हाई कमान ने कल रात अपना फैसला सुना दिया है। सिद्धू को पंजाब कांग्रेस प्रति का अध्यक्ष नियुक्त कर दिया गया है। आपको बता दे की कोन्ग्रेस्स ने ये फैसला अगले साल के चुनावों को ध्यान में रखकर किया है। कांग्रेस ने नवजोत सिंह सिद्धू को अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले पार्टी की पंजाब यूनिट का अध्यक्ष बना दिया है। उनकी नियुक्ति राज्य में महीनों तक चली खींचतान के बाद की गई है। पूर्व क्रिकेटर ने कई मुद्दों पर कैप्टन अमरिंदर सिंह की सरकार के खिलाफ खुलेआम बगावत कर दी थी। इस विवाद के बीच हाईकमान ने सुलह का चार सूत्रीय फॉर्मूला तैयार किया था। इसी के तहत पार्टी की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी ने उनकी नियुक्तियां की है।


देर रात लिया फैसला :
कांग्रेस नेतृत्व ने नवजोत सिंह सिद्धू को पंजाब का प्रदेश अध्यक्ष बनाने के अपने फैसले पर रविवार देर रात मुहर लगा दी। उनके खिलाफ पंजाब से लेकर दिल्ली तक पार्टी नेताओं ने नेतृत्व पर दबाव बनाने की कोशिश भी की, लेकिन फैसला सिद्धू के पक्ष में ही आया। नवजोत के साथ नेतृत्व ने कैप्टन को खुश रखने और जातीय समीकरण का संतुलन बैठाने के लिए उनके चार समर्थकों संगत सिंह गिलजियन, सुखविंदर सिंह डैनी, पवन गोयल और कुलजीत सिंह नागरा को कार्यकारी अध्यक्ष बनाया है। इनमें नागरा अभी तक सिक्किम, नागालैंड और त्रिपुरा के प्रभारी थे। उनसे ये जिम्मेदारी वापस ले ली गई है। इससे पहले रविवार को दोनों पक्ष दिनभर अपने पक्ष में माहौल बनाने में जुटे रहे।

पंजाब कांग्रेस के कार्यकारी अध्यक्ष :


संगत सिंह हरनाम सिंह गिलजियान- मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह के पुराने विश्वासपात्र हैं। संगत सिंह ने 2017 में टांडा उड़मुड़ (होशियारपुर) से जीत हासिल की थी। वह साफ और स्वच्छ छवि के नेता माने जाते हैं।

सुखविंदर सिंह डैनी – अनुसूचित जाति और पिछड़ा वर्ग में अच्छी पैठ मानी जाती है। 2017 में पहली बार पंजाब विधानसभा के लिए चुने गए। वर्ष 2009 में फरीदकोट संसदीय सीट से लोकसभा चुनाव लड़ा।

कुलजीत सिंह नागरा – फतेहगढ़ साहिब से विधायक हैं। नागरा राहुल गांधी के बेहद करीबी माने जाते हैं। उन्होंने राहुल गांधी के अध्यक्ष पद से इस्तीफे के बाद कांग्रेस सचिव पद से इस्तीफा दे दिया था।

पवन गोयल – फरीदकोट जिला योजना बोर्ड के चेयरमैन हैं। गोयल पंजाब सरकार के पूर्व खाद्य आपूर्ति मंत्री लाला भगवान दास गोयल के बेटे हैं। यह भी कैप्टन के काफी करीबी हैं।

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